सबरीमाला मंदिर को महाकाल लोक की तरह बनाने के लिए 500 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है।

सबरीमाला मंदिर को महाकाल लोक की तरह बनाने के लिए 500 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है।
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सबरीमाला मंदिर को महाकाल लोक की तरह बनाने के लिए 500 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है।

 मध्य प्रदेश में की तरह ही केरल राज्य में स्थितभी विकसित किया जाएगा।

भाजपा की शिवराज सरकार में बने उज्जैन में महाकाल लोक का अवलोकन करने के लिए सबरीमाला मंदिर प्रबंधन के सदस्यों का दल उज्जैन आया था।

भगवान महाकाल दर्शन के बाद तीन दिन तक महाकाल लोक का अध्ययन किया। अब इसकी एक समग्र रिपोर्ट बनाई जाएगी, यह रिपोर्ट प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को सौंपेंगे।

500 करोड़ रुपये का बजट

सबरीमाला मंदिर को महाकाल लोक की तरह बनाने के लिए 500 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है। बता दें कि सबरीमाला मंदिर केरल के पतनमतिट्टा जिले में पेरियार टाइगर अभयारण्य के भीतर स्थित है।

यहां प्रतिवर्ष चार से करोड़ श्रद्धालु आते हैं। वहीं, मध्य प्रदेश के उज्जैन में स्थित महाकाल मंदिर में भी भगवान महाकाल के दर्शनों के लिए प्रतिदिन डेढ़ लाख से अधिक श्रद्धालु आते हैं।

पिछले वर्ष प्रधानमंत्री मोदी ने किया था महाकाल महालोक का लोकार्पण

ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर परिसर के नवविस्तारित क्षेत्र ‘श्री महाकाल महालोक’ में हुए 242 करोड़ 35 लाख रुपये के निर्माण कार्यों का लोकार्पण पिछले माह ही मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने किया है।

उज्जैन में पर्यटन और रोजगार के अवसर बढ़ाने के लिए प्रदेश सरकार ने ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर परिसर को आठ गुना बड़ा और भव्य बनाया है।

गत वर्ष 11 अक्टूबर 2022 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ‘श्री महाकाल महालोक फेज-’ अंतर्गत 395 करोड़ रुपये के निर्माण कार्यों (भगवान शिव सहित अन्य देवी-देवताओं की विशाल मूर्तियों, नदी द्वार, पिनाकी द्वार, मानसरोवर भवन, महाकाल मंडपम्, त्रिवेणी मंडपम्, दीवारों पर उकेरे शैल चित्रों) का लोकार्पण किया था।

हाइजेनिक रसोई में दिनभर में एक लाख श्रद्धालुओं की भोजन व्यवस्था

महाकाल योजना अंतर्गत प्रदेश की सबसे बड़ी हाईजेनिक रसोई (किचन) ‘श्री महाकालेश्वर मंदिर अन्नक्षेत्र’ में एक समय पर दो हजार व्यक्ति भोजन प्रसाद ग्रहण कर सकेंगे। दिनभर में एक लाख। मालूम हो कि दो मंजिला महाकालेश्वर अन्न क्षेत्र का निर्माण 51 हजार वर्ग फीट में दान में प्राप्त राशि से किया गया है। यहां भोजन प्रसाद बनाने को उच्च तकनीक की आटोमेटिक मशीनें स्थापित की गई है।